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मजेदार शिक्षाप्रद कहानी :- कहानी घोड़े और बकरे की | Shikshaprad Kahani

by Sandeep Kumar Singh
4 minutes read

यह एक मजेदार शिक्षाप्रद हास्य कहानी है। इस कहानी से बहुत ही हास्यस्पद ढंग से हमें यह सीखने को मिलता है कि आज-कल के आमने में किस तरह से रहना चाहिए। यह मजेदार शिक्षाप्रद कहानी है एक पठान उसके बकरे और उसके घोड़े की।

मजेदार शिक्षाप्रद कहानी

मजेदार शिक्षाप्रद कहानी

एक पठान के पास एक बकरा और एक घोडा था। जिन्हें वो बहुत प्यार करता था। एक बार अचानक घोडा बीमार पड़ गया और बैठ गया। वो अब चल फिर नहीं सकता था। पठान को इस बात की बड़ी चिंता हुयी। उसने घोड़े के इलाज के लिए डॉक्टर को बुलाया।

डॉक्टर ने जांच पड़ताल करने के बाद पठान को बताया कि,

“आपके घोड़े को बहुत खतरनाक बीमारी हुयी है। मन इसे 4 दिन लगातार दवाई दूंगा। अगर ये चौथे दिन तक खड़ा हो गया तो बच जाएगा। यदि यह चौथे दिन तक खड़ा न हुआ तो मजबूरन इसे मारना पड़ेगा।”

यह सुन कर पठान को बहुत दुःख हुआ। लेकिन वह कर भी क्या सकता था।

डॉक्टर के जाने के बाद बकरे ने घोड़े को समझाने की कोशिश की,

“देखो, तुम कल एक बार जब डॉक्टर आये तो उठ जाना। वर्ना वो तुम्हें मार देंगे।”

लेकिन घोड़े पर इस बात का कोई असर न हुआ। वह दूसरे दिन न उठा। बकरे ने उसे दूसरे दिन भी समझाया। पर घोडा तो जैसे कान में रूई डाले बैठा था।

तीसरे दिन डॉक्टर फिर आया। उसने देखा कि घोड़ा फिर से खड़ा नहीं हुआ।

“बस एक दिन और अगर यह न खड़ा हुआ तो कल इसका आखिरी दिन होगा।”

इतना कह कर डॉक्टर चला गया।

तब बकरे ने एक आखिरी कोशिश करनी चाही,

“देखो, मैं तुम्हारे भले के लिए ही कह रहा हूँ। जिन्दगी दुबारा नहीं मिलती। तुम्हें ज्यादा कुछ नहीं करना। अपनी जान बचने के लिए बस एक बार उठ कर दौड़ना है।”

घोड़े ने बकरे की सलाहग पर इस बार विचार किया। उसने सोच लिया अगर एक बार हिम्मत करने से जान बच सकती है तो क्यों न कोशिश कर ली जाए।

अगले दिन डॉक्टर आया और जैसे ही घोड़े के पास गया तो घोड़ा अचानक से उठा और दौड़ने लगा। डॉक्टर खुश हो गया और बोला,

“बधाई हो, आपका घोड़ा बच गया। अब इसे नहीं मरना पड़ेगा।”

यह खबर सुन पठान बहुत खुश हुआ और तुरंत बोला,

“डॉक्टर साहब आज खुश कर दिया आपने। मैं आज बहुत खुश हूँ और इसी ख़ुशी में आज बकरा कटेगा”

शिक्षा :- आज के ज़माने में बस अपने काम से काम रखिये। नहीं तो किसी और को बचाने के चक्कर में आप भी बकरे की तरह कट जाओगे। 

पढ़िए अप्रतिम ब्लॉग पर शिक्षाप्रद जातक कहानियां :-

धन्यवाद।

आपके लिए खास:

15 comments

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Pan Singh Mehra सितम्बर 14, 2019 - 10:22 अपराह्न

Aaj ke jamane ke lie ek sachcha example.
Good thinking.

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Yash Vaishnav जून 7, 2019 - 1:24 अपराह्न

Aacha tha

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh जून 14, 2019 - 10:29 अपराह्न

धन्यवाद यश जी।

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सारांश सागर जनवरी 5, 2019 - 11:32 पूर्वाह्न

ये कहानी बचपन में सुनी थी भाई साहब ! पता नही आपने कैसे लिख दी ! लेकिन जो भी है कहानी बहुत ही मजेदार है !!

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh जनवरी 5, 2019 - 6:36 अपराह्न

जी सारांश जी….आपने बचपन में सुनी थी हमने जवानी में सुन ली…इसलिए लिख दी…..

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Subhash Chandra नवम्बर 19, 2018 - 7:32 अपराह्न

Good ❤ luck ???? story ????

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh नवम्बर 20, 2018 - 7:48 अपराह्न

धन्यवाद सुभाष चंद्रा जी….

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Raja Narendra Soni अक्टूबर 10, 2017 - 4:01 अपराह्न

Very Funny Kahani
I Like Me

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh अक्टूबर 11, 2017 - 5:04 पूर्वाह्न

Thanks Raja Narendra Soni ji…

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SUSHIL KUMAR जुलाई 9, 2017 - 6:44 अपराह्न

BAHUT BADHIYA KAHANI HAI. HAME APNE HI KAAM SE MATLAB RAKHNA CHAHIYE

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh जुलाई 9, 2017 - 7:46 अपराह्न

बिल्कुल सही बात कहो आपने सुशील कुमार जी…

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sunil मई 7, 2017 - 11:34 अपराह्न

this is really true.

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh मई 11, 2017 - 7:16 अपराह्न

जी Sunil जी आज के ज़माने में ऐसा ही होता है….

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Babita Singh अप्रैल 19, 2017 - 8:31 पूर्वाह्न

वर्तमान परिस्थितियों को देखते हुए इस कहानी को शिक्षाप्रद कहने मे कोई अतिसयोक्ति नही है । वाकई मजेदार कहानी है । Thanks.

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh अप्रैल 19, 2017 - 12:20 अपराह्न

आपकी राय जानकर अच्छा लगा Babita Singh जी…….
धन्यवाद।

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